बुधवार, 1 जुलाई 2015

मैं मौत को मार दूंगा |

मैं मौत को मार दूंगा |

मैं मौत को मार दूंगा |
धरती को फाड़ दूंगा |
सूरज को निगल लूंगा |
तारों को कुचल दूंगा |
दुःखों को पहाड़ दूंगा |
नदी को धार दूंगा |
क्षितिज को मरोड़ दूंगा |
चाँद को मैं तोड़ लूंगा |
खून को उबाल दूंगा |
रगों में फिर डाल लूंगा |
सरगम को मैं राग दूंगा |
रंगों को भी लाल दूंगा |
कोयल को गीत दूंगा |
चकोर को मीत दूंगा |
मीत को मैं प्रीत दूंगा |
जिंदगी को जीत लूंगा |
मौत को फिर हार दूंगा |
मौत को फिर मार दूंगा |
---- विभोर सोनी 'तेज़'

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Let me know how do you like it!